आदर्श हिमाचल ब्यूरों
शिमला| स्थानीय एपीजी शिमला विश्वविद्यालय में वीरवार और शुक्रवार को दो दिवसीय टैलेंट हंट और फ्रेशर पार्टी का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का नेतृत्व विधि विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ. भावना वर्मा और एमबीए विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ. मोनिका वर्मा ने किया। विश्वविद्यालय के सभागार में आयोजित इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में एपीजी विश्वविद्यालय के डीन फैकल्टी प्रो. डॉ. अश्वनी शर्मा और डीन स्टूडेंट वेल्फेयर डॉ. नीलम शर्मा उपस्थित रहे।
इस अवसर पर हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय की डॉ. अंजली शर्मा, शिमला की सामाजिक कार्यकर्ता विनीता चौहान, और एडवोकेट प्रियंका दौलटा ने जज के रूप में कार्यक्रम में शिरकत की इस कार्यक्रम के पहले दिन विद्यार्थियों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम, गीत-संगीत, पोस्टर मेकिंग, पर्यावरण बचाओ लेखन, हास्य कविताएं, नाटक और कविता पाठ सहित विभिन्न प्रस्तुतियां दीं। वहीं दूसरे दिन फ्रेशर पार्टी का आयोजन किया गया, जिसमें विश्वविद्यालय के नए और पुराने विद्यार्थियों ने भाग लिया। इस पार्टी का विषय विद्यार्थियों के बीच नेतृत्व, अनुशासन और सौहार्दपूर्ण संबंधों को बढ़ावा देना था। इस दौरान विद्यार्थियों ने हिमाचली और भारतीय पारंपरिक परिधानों में रैंप वॉक कर अपनी प्रतिभा का परिचय दिया और कार्यक्रम में विभिन्न सांस्कृतिक प्रस्तुतियों, जैसे हिमाचली नाटी, हिंदी फिल्मी गाने, पंजाबी गाने और अफ्रीकी व नेपाली छात्रों द्वारा प्रस्तुत पारंपरिक नृत्य ने सबका ध्यान आकर्षित किया।
फ्रेशर पार्टी के दौरान जजों ने विद्यार्थियों से नशाखोरी, महिला सशक्तिकरण, प्राकृतिक आपदाओं, ग्लोबल वार्मिंग और अन्य सामाजिक मुद्दों पर सवाल किए, जिनका विद्यार्थियों ने आत्मविश्वास के साथ जवाब दिया। इस समारोह में मिस फ्रेशर का ताज विधि संकाय की एलएलबी छात्रा आर्या रत्त्न को और मिस्टर फ्रेशर का खिताब हिमांशु को मिला। इसके अलावा, प्रथम रनर अप में प्रियांशु और मुस्कान, द्वितीय रनर अप में दीपक और लवप्रीत, मिस्टर पर्सनैलिटी में आशीष और मिस पर्सनैलिटी में मानवी विजेता रही। इस समारोह के समापन पर मुख्य अतिथियों ने विजेताओं को पुरस्कार और स्मृति चिन्ह प्रदान कर उन्हें सम्मानित किया और कार्यक्रम में एपीजी विश्वविद्यालय के कुलाधिपति प्रो. डॉ. रमेश चौहान, सलाहकार इंजीनियर सुमन विक्रांत, डीन एकेडमिक्स प्रो. डॉ. आनंदमोहन शर्मा, और विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्षों और प्राध्यापकों की उपस्थिति रही। प्रो. डॉ. अश्वनी शर्मा और प्रो. डॉ. नीलम शर्मा ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए विश्वविद्यालय को सिर्फ एक शिक्षण संस्थान ही नहीं, बल्कि नवाचार, संस्कृति और नेतृत्व के विकास का एक महत्वपूर्ण केंद्र बताया है।