आदर्श हिमाचल ब्यूरो
सोलन। नशा मुक्त अभियान-2.0 के तहत ज़िला स्तरीय कार्य योजना तैयार करने तथा सुझाव लेने के दृष्टिगत ज़िला स्तरीय समिति की बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता उपायुक्त सोलन मनमोहन शर्मा ने की।
मनमोहन शर्मा ने कहा कि नशा समाज के लिए एक बड़ी चुनौती बनकर उभरा है। उन्होंने कहा कि इस चुनौती से निपटने के लिए सभी को एकजुट होकर कार्य करना होगा ताकि युवा पीढ़ी को नशे से चंगुल से बचाया जा सके।
उन्होंने कहा कि ज़िला में युवाओं को नशे के दुष्प्रभावों के प्रति अवगत करवाने के लिए शैक्षणिक संस्थानों में नशा मुक्त जागरूकता अभियान चलाना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि युवास्था की जिज्ञासा और साथियों के दबाव के कारण किशोर नशे की ओर कदम बढ़ाते हैं। इसकी रोकथाम के लिए सभी शैक्षणिक संस्थानों में विभिन्न गतिविधियों द्वारा युवाओं को नशे के नकारात्मक प्रभावों के बारे में जागरूक करना आवश्यक है।
उपायुक्त ने शिक्षा विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि समय-समय पर अध्यापक-अभिभावक की बैठक आयोजित करवाएं ताकि युवाओं की दिनचर्या के बारे में दोनों को जानकारी रहे। उन्होंने कहा कि स्कूल में विद्यार्थी व खेल क्लब बनाएं और युवाओं को खेल की ओर आकर्षित करें ताकि बच्चे नशे से दूरी बनाकर रखें। उन्होंने पुलिस एवं आबकारी विभाग के अधिकारियों को संयुक्त टास्क फोर्स गठित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि पुलिस अधिकारी युवाओं द्वारा नशे करने वाले हॉटस्पॉट को चिन्हित कर आगामी कार्यवाही करें ताकि युवाओं को नशे से दूर रखा जा सके। उन्होंने ड्रग नियंत्रक व निरीक्षक को दवा की दुकानों व फार्मा उद्योगों का उचित निरीक्षण करने के निर्देश भी दिए।
मनमोहन शर्मा ने कहा कि वर्ष 2024-25 के बजट में सोलन ज़िला के कण्डाघाट में आदर्श नशा मुक्त केन्द्र प्रस्तावित किया गया है और इस केन्द्र के लिए स्थल भी चिन्हित किया गया है। उपायुक्त ने स्वास्थ्य एवं आयुष विभाग के अधिकारियों को नशे के रोगियों की नियमित काउंसलिंग करने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि शीघ्र ही सोलन ज़िला में पुलिस विभाग द्वारा नशे की समस्या से निजात पाने के लिए प्रधाव् (wipe out drugs ) आरम्भ किया जाएगा।