प्रेरणा: अपने हमउम्र किशार दोस्तों के अनुभवों पर सिमरन ने लिख डाली कविताएं, किशोर मन के भावों का आईना है “सौदाद-ए लव एवरलास्टिंग” 

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प्रेम, दर्द, आशा, साहस, लालसा, असफलता, दिल टूटने और आत्म प्रेम का सार है सिमरन की कविताएं 

आदर्श हिमाचल ब्यूरो 

शिमला। जब कोई बच्चा किशोर उम्र में प्रवेश करता है तो उसके जीवन मे कई तरह के बदलाव होते हैं। ये बदलाव शारिरिक व मानसिक होते है। ये वो उम्र होती है जब किशोर न बच्चा रहता है तो व्यस्त। ये उम्र का बेहद नाजुक दौर होता है। इस उम्र मे मिला सही मागदर्शन जहबा जीवन सवंरा देता हो तो कई बार इस उम्र का भटकाव जिदंगी नरक बना देता है। इसी उम्र के कुछ खट्‌टे-मीठे अनुभवों को कविता का रूप दिया है युवा लेखिका सिमरम अग्रवाल ने।

अपने पहले कविता संग्रह में “सौदाद-ए लव एवरलास्टिंग” में उन्होंने किशोर उम्र के उस पड़ाव को खूबसूरती से पेश किया है जिसे अमूमन बचकाना पागलपन समझ समाज अक्सर अनदेखा कर जाता है। सिमरन के इस कविता संग्रह में उनके अपने किशोर दोस्तों के जीवन के अनुभव है। सिमरन की कविताओं में प्रेम, दर्द, आशा, साहस, लालसा, असफलता, दिल टूटने और आत्म प्रेम का सार है। 

पिछले दिनों सिमरन ने शिमला में पत्रकारों से अपनी किताब के संस्मरण साझा किए। इस अवसर पर उनके साथ उनके माता-पिता नीता व दिनेश अग्ररवाल, उनके परिजन व दोस्त विशेष तौर पर उपस्थित रहे। सिमरन को लेखन अपनी माता नीता अग्रवाल से विरासत में मिला है। उनकी माता एक अध्यापिका होने के साथ ही एक जानी मानी लेखिका भी है। उनका कविता संग्रह पहले ही बाजार में आ चुका है जबकि दूसरे संग्रह पर वे काम कर रही हैं।

सिमरन ने कहा कि वे आगे भी लेखन जारी रखेंगी। ये अभिव्यक्ति का एक सशक्त माध्यम है। साथ ही जीवन में आपके लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए एकाग्रता व समर्पन का भाव भी जागृत करता है। इस अवसर पर उनके माता-पिता, ताया-ताई व जाने-माने लेखक एस आर हरनोट ने भी अपने विचार साझा किए।

इसके बाद सिमरन अग्रवाल ने राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर को राजभवन में अपनी कविता-संग्रह सौदाद-ए लव एवरलास्टिंग भेंट किया। राज्यपाल ने लेखिका के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि कविताओं के माध्यम से उन्होंने गम्भीर विचारों को प्रदर्शित किया है। उन्होंने आशा व्यक्त की कि भविष्य में भी वे लेखन के क्षेत्र में अपने प्रयास जारी रखेंगी।

सिमरन अग्रवाल का जन्म उत्तर प्रदेश के लखनऊ में और पालन-पोषण शिमला में हुआ है। वर्तमान में वह डाॅ. यशवन्त सिंह परमार बागवानी एवं वानिकी विश्वविद्यालय नौणी, सोलन से वानिकी में बीएससी कर रही हैं। उनकी माता शिमला में अध्यापिका है और स्वयं भी एक कवयित्री हैं। पुस्तक में 8 विषयों पर आधारित 70 कविताओं का संग्रह है।

          मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने युवा लेखिका सिमरन अग्रवाल द्वारा लिखित किताब सौदाद-ए लव एवरलास्टिंग का विमोचन किया। वर्तमान में वह डाॅ. यशवन्त सिंह परमार बागवानी एवं वानिकी विश्वविद्यालय नौणी, सोलन में वानिकी बीएससी की अन्तिम वर्ष की छात्रा है।

युवा लेखिका के प्रयासों की सराहना करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि कविताओं का यह संग्रह पाठकों को आनन्द प्रदान करने के साथ-साथ नवोदित लेखिकों को भी प्रेरित करेगा। उन्होंने लेखिका के उज्ज्वल भविष्य की कामना करते हुए उन्हें भविष्य की योजनओं के लिए शुभकामनाएं दीं।

इस पुस्तक में 8 विषयों प्रेम, दर्द, आशा, साहस, लालसा, असफलता, दिल टूटने और आत्म प्रेम पर आधारित 70 कविताएं संकलित हैं। किताब में पहले प्यार के अनुभव, प्यार के खोने और दिल टूटने के पश्चात होने वाली भावनाओं को वर्णित किया गया है। किताब में बताया गया है कि किस प्रकार हम जीवन में आशा और विश्वास के साथ स्वयं से प्रेम करना सीखते हैं तथा समय के साथ चीजें और अधिक बेहतर हो जाती हैं।  सिमरन के पिता दिनेश अग्रवाल, माता नीता अग्रवाल, विशेष अग्रवाल, अलका अग्रवाल तथा सक्षम अग्रवाल भी इस अवसर पर उपस्थित थे।