शिमला: किन्नौर भूस्खलन ने हादसे में बचे एचआरटीसी ड्राइवर-कंडक्टर ने बताई आप-बीती कहा बुधवार दोपहर साढ़े बारह बजे मूरंग से हरिद्वार जा रही बस जैसे ही न्यूगसरी पहुंची, तो पता चला कि आगे कुछ दूरी पर पहाड़ से पत्थर गिर रहे हैं. इसी दौरान रामपुर से रिकांगपिओ जा रही एचआरटीसी की बस सुरक्षित निकल गई. हरिद्वार बस के ड्राइवर-कंडक्टर बस को सड़क किनारे खड़ा कर जानने की कोशिश करने लगे, तो पता चला कि आगे पत्थर गिर रहे हैं. कंडक्टर गुलाब सिंह ने ड्राइवर से कहा कि अभी लग नहीं रहा कि हम आगे निकल पाएंगे. ऐसे में बस को वहीं खड़ा कर स्थिति के सामान्य होने का इंतजार करते हैं. कंडक्टर ने बताया कि दोनों बस की तरफ वापस जा रहे थे, तो उसी समय आधे मिनट में जहां बस खड़ी थी, उसके ऊपर पूरा पहाड़ गिर आया. पहाड़ ने बस समेत वहां पर खड़े हर वाहन को चपेट में ले लिया.
कंडक्टर के मुताबिक बस में 24 सवारिया थी, इसमें तीन या चार महिलाएं भी हैं. कंडक्टर ने बताया कि ड्राइवर सहित वह भी लबे की चपेट में आ गया. दोनों ने जान बचाने के लिए एक चट्टान के नीचे जगह तलाशी. मलबा आने के बाद वे दोनों काफी समय तक चट्टान के नीचे ही रहे. चट्टान के बाहर पूरी तरह से मलबा था, पूरा अंधेरा ही दिख रहा था. दोनों आपस में एक-दूसरे के हौसला देते रहे. शुरू में तो मोबाइल चल रहा था, लेकिन बाद में मोबाइल बंद हो गया. साढ़े 12 बजे से लेकर काफी समय तक मलबे न हटने तक चट्टान के नीचे ही खड़े रहे. जब रेस्कयू टीम आई, तो इन्हें निकाला गया. कंडक्टर गुलाब सिंह की दोनों टांगें चट्टान से बाहर रह गई थीं, इसलिए टांगों में चोटें आई हैंं. तीन बजे के लगभग उन्हें बाहर निकाला गया.