हिमाचल , उत्तर प्रदेश व  उत्तराखंड में सात सौ और सिलाई स्कूल किए जाएंगे स्थापित 

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Dinesh Chabra CEO Usha International
Dinesh Chabra CEO Usha International

आदर्श हिमाचल ब्यूरो 

शिमला। 

 उषा  स्वावलंबन सिलाई स्कूल कार्यक्रम भारतीय लघु उद्योग विकास बैंक (सिडबी )और उषा इन्टरनेशनल लिमिटेड की संयुक्त साझेदारी वाला कार्यक्रम है। आज इसका दूसरा चरण आरम्भ हुआ, जिसके अंतर्गत हिमाचल प्रदेश, उत्तरप्रदेश और उत्तराखण्ड के कठिनाई.युक्त,आकांक्षी जिलों 700 सिलाई स्कूल स्थापित किये जाएँगे। पहले की ही तरह इस कार्यक्रम का मूल उद्देश्य भी गाँव स्तर पर सिलाई.आधारित उद्यम स्थापित करने में महिलाओं को सक्षम बनाना रहेगा। दूसरे चरण की योजना में ऋण बाजार (ई.वाणिज्य सहित) और कौशल का समावेश करने का प्रयास भी किया जाएगा।

उषा इन्टरनेशनल के मुख्य कार्यपालक अधिकारी  दिनेश छाबड़ा ने कहा कि दूसरे चरण की अपनी यात्रा में उषा स्वावलम्बन सिलाई स्कूलों की स्थापना के क्रम में सिडबी के साथ अपनी साझेदारी जारी रखने में हमें गर्व का अनुभव हो रहा है। इस चरण में हिमाचल प्रदेश, उत्तराखण्ड और उत्तर प्रदेश में भारत सरकार द्वारा चुने आकांक्षी जिलों, आपदा प्रभावित इलाकों में 700 सिलाई स्कूल स्थापित किए जाएँगे।

इन नये स्कूलों में हजारों की संख्या में महिलाओं को प्रशिक्षित किया जाएगा और इनसे न केवल उन महिलाओं बल्कि उनके परिवारों का भावी जीवन भी संवरेगा क्योंकि इस कार्यक्रम के ज़रिए महिलाओं में अपनी अधिकार.चेतना युक्त उद्यमिता विकसित होगी, उनका आर्थिक सशक्तीकरण होगा जिससे उन्हें अपनी आकांक्षाएं पूरी करने में मदद मिलेगी। इससे लोगों की कौशल.वृद्धि करके विश्व में और अधिक समानता विकसित करने की हमारी प्रतिबद्धता को बल मिलेगा।

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सिडबी के अध्यक्ष एवं प्रबन्ध निदेशक  मोहम्मद मुस्तफ़ा, आईएएस ने इस अवसर पर कहा कि हमें खुशी है कि उषा स्वावलंबन सिलाई स्कूल कार्यक्रम के अंतर्गत हम महिला सशक्तीकरण की दिशा में अगला कदम बढ़ा रहे हैं। इस दूसरे चरण में सिलाई के कौशल के साथ.साथ हम उद्यमिता और जीवनोपयोगी कौशलों की जानकारी भी देंगे। यह कार्यक्रम हमारे मिशन स्वावलंबन के अनुरूप है जिसका उद्देश्य उद्यमिता की संस्कृति का प्रसार करना है और जिसके केन्द्र में परिवार है। विकास की दौड़ से बाहर रहे गये लोगों के समावेशन तथा असेवित लोगों की सेवा के लिए हम साझेदारियों का लाभ लेते रहेंगे। हमारा दृढ़ विश्वास है कि उद्यमिता की सक्षमता बढ़ानेवाले उपायों के ज़रिए अपने गाँवों को सुदृढ़ करना राष्ट्र के आत्मनिर्भर भारत अभियान के लिए बहुत ज़रूरी है।

उषा स्वावलंबन सिलाई स्कूल कार्यक्रम का पहला चरण सितंबर 2019 में शुरू हुआ था और फरवरी 2020 में समाप्त हुआ जिसमें सिडबी ने सिलाई स्कूल की उन उद्यमी महिलाओं की मदद की जो हाशिए पर जी रही हैं।  लॉक डाउन की अवधि यानी मार्च, अप्रैल और मई में ये सभी सिलाई स्कूल बड़े पैमाने पर मास्क उत्पादन में जुटे थे। उन्हें विभिन्न विक्रेताओं एजेंसियों और सरकारी संस्थाओं से ऑर्डर मिले। दरअसलए इस दौरान कुछ सिलाई स्कूलों ने तो अपनी आय.अर्जन क्षमता भी बढ़ाई।

उषा स्वावलंबन सिलाई स्कूल कार्यक्रम का परिचय सिलाई स्कूल कार्यक्रम सिडबी और उषा इन्टरनेशनल लिमिटेड की एक ऐसी पहल है जो अखिल भारतीय स्तर के ग्रामीण समुदायों में चलाई जा रही है।  इस सामाजिक पहल का लक्ष्य हाशिए पर जीनेवाले वर्गों और भारत के गाँवों में रहनेवाले समुदायों की महिलाओं का सशक्तीकरण करना है। सिलाई स्कूल कार्यक्रम का प्राथमिक उद्देश्य महिलाओं में उद्यमिता की संस्कृति विकसित करना और उन्हें वित्तीय दृष्टि से सशक्त बनाकर उनके लिए जीविकोपार्जन के विकल्प जुटाना है जिसके लिए उनको सिलाई और टँकाई तथा उद्यमिता कौशल सिखाया जाएगा। इसका दूसरा उद्देश्य महिला को आर्थिक रूप से सक्षम बनाकर उसे खुद अपने परिवार में और समुदाय में सामाजिक पहचान दिलाना है।