हमलावर विपक्ष: नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर का मुख्यमंत्री पर निशाना, सुक्खू नाम के हैं सीएम अपने मंत्रियों पर भी नहीं हैं नियंत्रण

शिमला टैक्सी ऑपरेटर्स विवाद मुख्यमंत्री और मंत्रियों के गैर-जिम्मेदाराना बयानों की ही है देन

छह महीनों में ही न्याय व हक मांगने सड़कों पर उतरे लोग, सरकार सो रही

 पेयजल से लेकर शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा देने में पूरी तरह से विफल हुई सरकार 

आदर्श हिमाचल ब्यूरो 
शिमला। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि आज प्रदेश में अराजकता का माहौल है। सड़कों पर खून खराबा हो रहा है और सरकार मौन हैं। लोग न्याय के लिए सड़कों पर हैं। क़ानून व्यवस्था ध्वस्त हैं। मुख्यमंत्री और मंत्री ग़ैरज़िम्मेदाराना बयान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि शिमला में टैक्सी ऑपरेटर्स का संघर्ष  सीधे- सीधे मुख्यमंत्री और मंत्री  की नाकामी है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि मंत्री ने ग़ैरज़िम्मेदाराना बयान देते हुए विवाद को सुलझाने के बजाय और भड़का दिया और मुख्यमंत्री समेत बाक़ी के वरिष्ठ लोग बैठकर तमाशा देखते रहे।जिसका नतीजा आज टूरिस्ट के पीक सीजन में इस तरह की स्थिति शिमला की हो गई है। आज शिमला में टैक्सी यूनियन की स्ट्राइक से लोगों को किस प्रकार की असुविधा का सामना करना पड़ रहा है। नेता प्रतिपक्ष  ने कहा कि शिमला में टूरिस्ट सीजन चल रहा है। पर्यटन का हमारे प्रदेश की आर्थिकी में बड़ा योगदान देती है। टूरिस्ट  सीजन में प्रदेश में इस तरह की अराजकता और खून ख़राबा हमारे प्रदेश की छवि के साथ साथ आर्थिक स्थिति को भी नुक़सान पहुंचा रही है।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार पेयजल, शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा सभी मुद्दों पर फेल हैं उन्होंने कहा यह सरकार पूरी तरह फेल हो गई है। इसलिए हिमाचल में लोग अपने हक़ के लिए सड़कों पर उतर रहे हैं। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि अगर इस सरकार के छह महीनों का परिणाम यह है तो आने वाले दिनों में क्या होगा।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि आज लोग न्याय और अपने हक़ के लिए सड़क पर उतर रहे हैं क्योंकि सरकार न्याय नहीं दे रही है। उन्होंने कहा कि आज शिमला में हज़ारों टैक्सी ऑपरेटर्स  प्रदर्शन कर रहे हैं। चम्बा में हज़ारों लोग मनोहर को न्याय दिलाने के लिए सड़क पर उतरने को मजबूर हुए। ऊना में उपमुख्यमंत्री की गृह पंचायत में पीने के पानी के लिए लोगों को सड़क पर उतरना पड़ा। शिक्षकों की माँग को लेकर छात्र सड़कों पर हैं। वेतन की माँग को लेकर हज़ारों कर्मचारी आये दिन धरना दे रहे हैं। स्वास्थ्य व्यवस्था पर अपने ही पार्टी के नेता खरी खोटी सुना रहे हैं। आज प्रदेश में हर तरफ़ बदहाली का आलम हैं।
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर  ने कहा कि जलशक्ति मंत्री जो ख़ुद को हिमाचल का सबसे बड़ा नेता समझते हैं, उनके गृह पंचायत  में पीने का पानी नहीं  मिलने से जनता जलशक्ति विभाग के ऑफिस में ताला जड़ रही है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि अब जनता ने कांग्रेस की उपमुख्यमन्त्री के घर से तालाबंदी शुरू कर दी है।  अब यह तालाबंदी रुकने वाली नहीं हैं।अध्यापक न होने से स्कूल में तालाबंदी हो रही है। स्कूल में शिक्षकों की राह देखते देखते छात्र स्कूल छोड़ हैं, स्कूलों में तालाबंदी हो रही है। उन्होंने कहा कि क्या इसी व्यवस्था परिवर्तन का दावा करके कांग्रेस सत्ता में आई थी।

छह महीनें में ही सड़क आने को मजबूर हुए हिमाचल के लोग

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि इस सरकार को मात्र छह महीनें ही हुए हैं, लेकिन प्रदेश के लोग परेशान हैं। मात्र छह महीनें के कार्यकाल में प्रदेश में अराजकता और गुण्डागर्दी का माहौल है। हिमाचल के लोग इस सरकार की कारगुज़ारियों के कारण सड़क पर उतरने को मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि यदि सुक्खू सरकार ने छह महीनें में प्रदेश का यह हाल कर दिया है तो आगे क्या होगा।

सरकार में सबकुछ नियंत्रण के बाहर

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि मंत्रियों का अपने विभाग पर क़ाबू नहीं है, सीएम का मंत्रियों पर क़ाबू नहीं है। पुलिस पीड़ित का मुक़दमा नहीं दर्ज कर रही है। मंत्री देश बांटने वाली भाषा बोल रहे हैं। मुख्यमंत्री सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने वाले  बयान दे रहे हैं। प्रदेश की पुलिस बिना मुखिया के दिशाहीन है। चम्बा जैसे वीभत्स कांड के छह दिन बीत जाने के बाद भी हिमाचल के वरिष्ठ मंत्री को मामले की जानकारी ही नहीं थी। इस तरह के हालात में  लोगों को न्याय कैसे मिलेगा।
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