डी. धीमान, आईएएस, मुख्य सचिव, हिमाचल प्रदेश की अध्यक्षता में भारतीय रिज़र्व बैंक, शिमला द्वारा आयोजित गई थी।

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17वीं राज्य स्तरीय समन्वय समिति-हिमाचल प्रदेश की बैठक  को हिमाचल प्रदेश के सचिवालय में आयोजित की गई। यह बैठक  डी. धीमान, आईएएस, मुख्य सचिव, हिमाचल प्रदेश की अध्यक्षता में भारतीय रिज़र्व बैंक, शिमला द्वारा आयोजित गई थी।

राज्य स्तरीय समन्वय समिति बैठक का उद्देश्य अनिगमित निकायों के विरुद्ध राज्य सरकार, भारतीय रिज़र्व बैंक एवं अन्य विनियामक और प्रवर्तन एजेंसियों के बीच अधिक समन्वय स्थापित करना है।

वर्तमान की डिजिटल दुनिया में वित्तीय संस्थाओं द्वारा ऐप के माध्यम से वित्तीय सेवाएं प्रदान करने और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से विज्ञापन का कार्य किया जा रहा है। जालसाजों ने भी ऐप के माध्यम से डिजिटली वित्तीय सेवाएँ प्रदान करने का आश्वासन देने के नाम पर धोखाधड़ी करने के नए-नए तरीके ढूंढ लिए हैं।

 

विनियामकों और कानून प्रवर्तन एजेंसियों को जनता से शिकायतें मिल रही हैं कि अनिगमित निकाय आकर्षक निवेश योजनाओं के नाम पर उन्हें धोखा दे रहे हैं। जालसाज़ों द्वारा अपनाए जाने वाले अन्य तौर-तरीकों में सस्ते ऋण आदि की आड़ में जानता को परेशान करना और जबरन वसूली करना शामिल है।

 

यह फोरम एक समन्वय तंत्र के रूप में काम करता है जहां नियामक और प्रवर्तन एजेंसियां ​​ऐसे जालसाजों द्वारा अपनाई जाने वाली विभिन्न प्रकार की कार्यप्रणाली के बारे में अपनी बाज़ार आसूचना साझा करती हैं। भारतीय रिजर्व बैंक, सेबी और विभिन्न बैंकों द्वारा हिमाचल प्रदेश के सभी जिलों में समाज के विभिन्न वर्गों के लिए वित्तीय साक्षरता शिविर आयोजित किए जाते हैं।
उक्त बैठक में  प्रबोध सक्सेना, (आईएएस) वित्त विभाग,  राजेश शर्मा (आईएएस), रजिस्ट्रार ऑफ कोऑपरेटिव सोसाइटीज़,  रजनीश कुमार, संयुक्त रजिस्ट्रार ऑफ कोऑपरेटिव सोसाइटीज़,  गौरव सिंह (आईपीएस), ईओडबल्यू,  आतिश अनंत, उमप्र, भारतीय रिज़र्व बैंक, मोहिता एस दहिया (समप्र), सेबी, रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज़, हिमाचल प्रदेश एवं भारतीय रिज़र्व बैंक के अधिकारियों नें सहभागिता की।