करछम वांगतू जल विद्युत परियोजना क्षेत्र में मज़दूर आत्महत्या के मामले में गरमाया राजनैतिक माहौल

सुसाइड नोट में मज़दूर ने जेएसडब्ल्यू के तीन अधिकारियो को आत्महत्या के लिए मज़बूर करने का लिखा था कारण

विशेषर नेगी

रामपुर/ शिमला। एक हजार मेगावाट की करछम वांगतू परियोजना में मज़दूर द्वारा आत्महत्या मामले में राजनैतिक माहौल गरमा गया है। किन्नौर के विधायक जगत सिंह नेगी ने आरोप लगाया हैकि आत्महत्या से पहले मज़दूर ने सुसाइड नॉट लिखा है और कम्पनी अधिकारियो को नामज़द किया है। पुलिस को ईमानदारी से काम करना चाहिए। किन्नौर जिला के करछम और वांगतू के मध्य बनी एक हजार मेगावाट की जल विद्युत परियोजना में लगे एक मज़दूर जो कारपेंटर का काम करता था ने अपने बैरक में 27 जुलाई को दिन के समय आत्महत्या कर दी थी। आत्महत्या से पहले मज़दूर ने सुसाइड नॉट में कम्पनी अधिकारियो द्वारा लगातार जबरन वीआरएस लेने का द्वाव बनाये जाने की बात लिखी थी । इस से पहले भी परियोजना क्षेत्र में अन्य मज़दूरों ने कम्पनी द्वारा मज़दूरों पर दवाब बना कर जबरन छटनी करने का आरोप लगाया था।

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किन्नौर के विधायक जगत सिंह नेगी ने आरोप लगाया है कि जेएसडब्ल्यू में कार्यरत एक मजदूर ने आत्महत्या कर दी थी और आत्महत्या कारण मजदूर ने सुसाइड नोट में लिखा था कि कंपनी के अधिकारी उस पर जबरन वीआरएस लेने का दबाव बना रहे हैं और इससे बे सदमे में है, इस से आत्महत्या करने पर मजबूर हो गया है। उन्होंने बताया इस मामले में पुलिस प्रशासन नकारात्मक रवैया अपना रहा है। इससे संदेह हो रहा है कि पुलिस प्रशासन कंपनी के इशारों पर काम कर रही है। उन्होंने कहा कि कोविड.19 के इस दौर में निजी एवं सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों को मजदूरों की छटनी का एक बहाना मिल गया है। इस तरह के हालात में छटनी को रोका जाना चाहिएए अन्यथा गरीबों का जो आर्थिक एवं सामाजिक जीवन है वह गड़बड़ा जाएगा।